Tuesday, February 28, 2023

भारतीय कविता आंदोलनों के जन्मदाता : सूर्यकांत त्रिपाठी निराला

(शैलेंद्र , प्रयागराज)

सूर्यकांत  त्रिपाठी निराला जी का आज 123वां जन्मदिन है ।आज ही अंतरराष्ट्रीय मातृभाषा दिवस एवं बसंत ऋतु का दौर भी है।

हिंदी साहित्य के छायावाद के चार कवियों, जयशंकर प्रसाद, सुमित्रानंदन पंत, महादेवी वर्मा के साथ सूर्यकांत जी प्रमुख स्तंभ माने जाते हैं। उन्होंने बंग्लाभाषी होते हुए भी हिंदी साहित्य की,और  गीत, कविता, कहानी, उपन्यास, निबंध आदि विधाओं में  रचनाएं सृजित कर छायावाद व परवर्ती काव्य आन्दोलनों के साहित्यकारों का मार्ग दर्शन किया।

सूर्यकांत जी का जन्म रविवार के दिन बंगाल की महिषादल रियासत, मिदनापुर में हुआ। रविवार के दिन पैदा होने के कारण उनका नाम सूर्यकांत रखा

Monday, February 27, 2023

'फ़र्जी'

मैं जब भी उनकी दुकान पर जाता 

वे नामी बाबाओं के 

वीडियो देखते - सुनते हुए ही मिलते थे।

उनमें से कुछ बाबा आज ---- की हवा खा रहे हैं।

आज जब मैं उनकी दुकान पर पहुंचा 

तब भी वे कोई वीडियो ही देख रहे थे। 

मैने पूछा- कौन से बाबा को देख - सुन रहे हैं ?

वे बोले  - अरे नहीं, पिक्चर चल रही है। 

मैने पूछा - कौन सी ?

तो वे बोले  -  फर्जी।


(राजेन्द्र ओझा, रायपुर,  छत्तीसगढ़)





'नादान आदमी का सच ’ हमारा तुम्हारा सच - सुजाता

अम्बिका दत्त जी का काव्य –संग्रह ’नादान आदमी का सच ’ पढ़ते ही ताज़ी हवा के झोंके की छुअन सी महसूस होती है। हिंदी और राजस्थानी में उनके नौ पु...